सिविल सेवा परीक्षा केवल ज्ञान की नहीं बल्कि दृष्टिकोण, धैर्य और आत्मविश्वास की परीक्षा है -एडीम अरविन्द कुमार

सिविल सेवा परीक्षा केवल ज्ञान की नहीं बल्कि दृष्टिकोण, धैर्य और आत्मविश्वास की परीक्षा है -एडीम अरविन्द कुमार

मातृभूमि की पुकार (ब्यूरो रिपोर्ट धीरज गुप्ता)
श्री गांधी पुस्तकालय में आयोजित सेमिनार में सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी कर रहे सैकड़ों अभ्यर्थियों को दिये महत्वपूर्ण जानकारियां
शाहजहाँपुर: श्री गांधी पुस्तकालय, मंडी चौक, शाहजहाँपुर एवं संकल्प भारत शोध न्यास के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित एकदिवसीय सेमिनार का आयोजन किया गया। जिसमें सेमिनार का विषय ‘सिविल सेवा: दिशा, दृष्टि और द्वंद्व’ रहा।
सेमिनार में मुख्य वक्ता अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व अरविन्द कुमार ने सिविल सेवा की तैयारी करने वाले सैकड़ों अभ्यर्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि सिविल सेवा परीक्षा केवल ज्ञान की नहीं, बल्कि दृष्टिकोण, धैर्य और आत्मविश्वास की परीक्षा है।अभ्यर्थियों को सबसे पहले अपनी दिशा स्पष्ट करनी चाहिए।यह जानना कि वे क्यों और किस उद्देश्य से इस सेवा में आना चाहते हैं। जब दिशा स्पष्ट होती है, तभी दृष्टि विकसित होती है और व्यक्ति द्वंद्वों से पार पा सकता है
।एडीएम ने युवाओं को संदेश दिया कि सफलता का मार्ग कठिन अवश्य है, परंतु निरंतरता, सकारात्मक सोच और आत्मानुशासन के साथ कोई भी लक्ष्य असंभव नहीं। उन्होंने परीक्षा की तैयारी में रणनीति, समय प्रबंधन और मानसिक संतुलन के महत्व पर विशेष बल दिया कार्यक्रम के अंत में उपस्थित अभ्यर्थियों ने प्रश्नोत्तर सत्र में भाग लेकर अपने शंकाओं का संतोषजनक समाधान पाया।
कार्यक्रम का संचालन ललित हरि मिश्रा ने किया। अतिथियों का आभार संकल्प भारत शोध न्यास के संस्थापक डॉ. स्वप्निल यादव ने किया। कार्यक्रम में पुस्तकालय उपाध्यक्ष डॉ हरिओम त्रिपाठी , अमित यादव , शिवाजी गुप्त , विवेक कुमार , धर्मेंद्र दिवाकर , दिनेश मिश्रा , आशीष भरद्वाज , समर , शिवम तिवारी , अनुराग यादव , इलमा खान , जाहिद आलम , काजल यादव एवं अमिता राज आदि उपस्थित रहे।




